मोईना मोहम्मद मोईना मोहम्मद मोईना मोहम्मद मोईना मोहम्मद
अमीना मोहम्मद बसीना मोहम्मद नबीना मोहम्मद वलीना मोहम्मद
सखीना मोहम्मद बसीना मोहम्मद सफीना मोहम्मद मोईना मोहम्मद
मुनव्वर मुनव्वर है सीना मोहम्मद मोअत्तर मोअत्तर पसीना मोहम्मद
वियाबाँ बियाबाँ है रहबर मोहम्मद समन्दर समन्दर सफीना मोहम्मद
जिसे छू के है झूमती डाली हाली तेरे शहर की वो हवा बेमिसाली
तेरा सब्ज शुभबद तेरी नूरी जाली मुझे देखना है मदीना मोहम्मद
जहाँ ने सितम ढाए हैं सरवरे दीं तेरे दर पे हम आए है सस्वरे दीं
हमें भीख दे दे तेरे पास तो है दो आलम का सारा खजीना मोहम्मद
चमकने लगा तब से मेरा सुकददर समाया है जब से मदीने का मन्जर
मुनव्वर मुनव्वर हुई मेरी आखें मुजल्ला हुआ मेरा सीना मोहम्मद
वो फारुके आज़म वो सिद्दीके अकबर वो उस्मानों हैदर वो सलमानों बूजर
फलक के हैं तारे सहाबा तुम्हारे मिला इनसे जन्नत का जीना मोहम्मद
हमारे मुआविन हमारे हैं सरवर अली फात्मा और शब्बीरो शब्बर
हमें मौजे तूफाँ का खतरा हो क्यूँ कर तेरी आल जब है सफीना मोहम्मद
वो करबल की धरती वो खूँ रेज मन्जर वो मजरूह अकबर वो नन्हा सा असगर
जो तेरे घराने का सुनता हूँ किस्सा मेरा गम से फटता है सीना मोहम्मद
नहीं मौत का खौफ मुझको शजर है मेरे लब पे जिक्रे शहे बहरोबर है
तेरे नाम पर मेरा मरना मोहम्मद तेरे नाम पर मेरा जीना मोहम्मद